Sunday, November 4, 2018

शराबी

प्यारे दोस्तों, ज्यादातर मैं शायरी नहीं लिखता हूँ लेकिन प्रयास मात्र कर लेता हूँ।

संभवत: सभी को पसंद आएगी।

हाथ में जाम, जाम में बर्फ
बर्फ में चेहरा दिलबर का
दिखाई देता है।
लबों पर आ जाती है मुस्कान, जब कोई कमबख्त हमको
शराबी कहता है।


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© निशान्त पन्त